भाजपा नेता और पूर्व कलेक्टर ओपी चौधरी की ओर से जारी कोयला चोरी का वीडियो पुराना साबित होने के बाद प्रदेश की राजनीति गर्म है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ओपी चौधरी की इस हरकत पर भड़के हुए हैं। उन्होंने कहा, कानून जानकर भी झूठा वीडियो डालने पर तो और कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए।
भाजपा नेता ओपी चौधरी पर एफआईआर से जुड़े सवाल पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा, वे आईएएस अधिकारी रहे हैं। कलेक्टर रहे हैं। उसके बाद भी यह हथकंडा। कोयला चोरी हो रहा है कहकर दो साल पुराने वीडियो को आप डालेंगे और कहेंगे कि यह 2022 का है। यह सीधे-सीधे अपराध की श्रेणी में आता है। सामान्य नागरिक होते तो उसपर भी कार्रवाई होती। ये आईएएस अधिकारी रहे हैं तो अपराध और बड़ा होता है। कानून जानकर भी ऐसा करने वालों के खिलाफ तो और कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए। रमन सिंह ऐसे लोगों को बचाने में लगे हुए हैं। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल पत्थलगांव विधानसभा के दौरे से वापस लौटने के बाद प्रेस के सवालों का जवाब दे रहे थे। इससे पहले पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट डालकर कहा था, ओपी चौधरी ने आपके लचर प्रशासन की खामियां उजागर की तो गैर जमानती धाराएं लगा दीं। हम डरने वाले नहीं हैं। सनद रहे, यह तानाशाही नहीं चलेगी। ईंट से ईंट बजा देंगे कांग्रेस सरकार की।
ओपी चौधरी का मामला क्या है
भाजपा नेता और पूर्व आईएएस ओपी चौधरी ने 18 मई को अपने ट्विटर हैंडल से एक वीडियो पोस्ट किया था। उसमें दावा किया गया था कि कोरबा जिले की गेवरा माइंस से हजारो लोग खुलेआम कोयला चोरी कर रहे हैं। इसकी जांच के लिए पुलिस ने एक टीम बनाई। अब दावा किया जा रहा है, वह वीडियो दो साल पुराना और किसी और खदान का था। इसके आधार पर कांग्रेस के एक नेता ने ओपी के खिलाफ एफआईआर दर्ज करा दिया।