सेफ इंवेस्टमेंट ऐसेट के रूप में गोल्ड की चमक लगातार बनी हुई है और इस साल भारतीय बाजार में इसने अभी तक लगभग 67 प्रतिशत का रिटर्न दिया है। एक्सपर्ट्स का कहना है कि अगर वैश्विक परिस्थितियां और रुपये-डॉलर की दर लगभग समान बनी रहती है या रुपया कमजोर होता है तो 2026 में सोने की कीमत 5 प्रतिशत से 16 प्रतिशत प्रति 10 ग्राम और चढ़ सकती है। दिल्ली सर्राफा संघ के आंकड़ों अनुसार, इस साल 1 जनवरी को दिल्ली में 10 ग्राम सोने की कीमत 79,390 रुपये थी जो बीते शुक्रवार, 5 दिसंबर को 1,32,900 रुपये प्रति 10 ग्राम हो गई।
शेयर बाजार ने इस साल कितना दिया रिटर्न
सोने की कीमतों में तेज बढ़त का मुख्य कारण सुरक्षित निवेश की मांग में लगातार बढ़ोतरी, भू-राजनीतिक तनाव और दुनिया के बड़े केंद्रीय बैंकों के ब्याज दर घटाने की उम्मीद है। अगर इक्विटी शेयर पर रिटर्न देखा जाए तो निफ्टी 50 टीआरआई (कुल रिटर्न सूचकांक) और निफ्टी 500 टीआरआई ने 3 दिसंबर तक क्रमशः 6.7 प्रतिशत और 5.1 प्रतिशत का रिटर्न दिया है। वहीं, 10 साल के सरकारी बॉन्ड का प्रतिफल दिसंबर 2025 की शुरुआत में लगभग 6.53 प्रतिशत रहा।
कई वजहों से सोने के भाव में आई तेजी
सोने की कीमत में आई तेजी के कारणों के बारे में पूछे जाने पर मेहता इक्विटीज के उपाध्यक्ष (जिंस) राहुल कलंत्री ने कहा, ‘‘वैश्विक केंद्रीय बैंकों और संस्थागत निवेशकों द्वारा बड़े पैमाने पर सोने की खरीद के अलावा अमेरिका में ब्याज दरों में कटौती की उम्मीद और अनुकूल मौद्रिक नीति की संभावनाएं भी सोने की बढ़ती कीमतों का एक महत्वपूर्ण कारक रही हैं। इसके साथ ही, डॉलर के मुकाबले रुपये की कमजोरी ने भारत में सोने की कीमतों में और इजाफा किया है।’’
कहां तक पहुंच सकती हैं सोने की कीमतें
अगले साल सोने की चाल पर राहुल कलंत्री ने कहा, ‘‘अगर वैश्विक परिस्थितियां और रुपये-डॉलर दर लगभग समान बनी रहती है या रुपया कमजोर होता है, तो भारत में सोने की कीमत 1.45 लाख से 1.55 लाख रुपये को पार कर सकती है।’’ आनंद राठी शेयर एंड स्टॉक ब्रोकर्स के डायरेक्टक थॉमस स्टीफन ने कहा, ‘‘हमारा अनुमान है कि आने वाले साल में सोने की कीमत 5 प्रतिशत से 15 प्रतिशत तक बढ़ जाएगी, क्योंकि जिन कारणों ने इस साल कीमतों को नई ऊंचाइयों पर पहुंचाया है, उनके अगले साल भी जारी रहने की संभावना है।’’















